41लाख रुपए श्रमिकों को बांटकर नहीं छुपाई जा सकती केंद्र व राज्य सरकार की नाकामियां।
प्रकाश सिंह रावत
देहरादून। सिलक्यारा टनल में पिछले 17 दिनों से फंसे 41 श्रमिकों के सकुशल बाहर आने पर देश व प्रदेशवासियों ने प्रसन्नता व्यक्त की है, मगर जिस प्रकार सभी 41 सुरक्षित मजदूरों में टनल के भीतर पनप रहे असंतोष को दबाने के लिए केंद्र व राज्य सरकार ने खरीद फरोख्त कर मजदूरों के मुंह को बंद करने का प्रयास किया है यह सरासर भाजपा के डर को दर्शाता है यह कहना है कांग्रेस के प्रवक्ता सूरज नेगी का। ।
उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता सूरज नेगी ने केंद्र व राज्य सरकार को खरीद फरोख्त की सरकार करार देते हुए कहा कि जहां केंद्र व राज्य सरकार को इतने दिनों बाद मजदूरों को बाहर निकलने पर पश्चाताप करना चाहिए था वो ठीक इसके उलट बाहर निकले श्रमिकों को मेडिकल फिट मजदूर व उनके परिजनों को एक एक लाख रुपए का लालच देकर देश में टेलीविजन चैनलों व मीडिया जगत पर प्रधानमंत्री से वार्ता करवा कर राज्य की निकम्मी धामी सरकार की भी जबरदस्ती तारीफ करवाई जा रही है।
नेगी ने राज्य व केंद्र सरकार की मनसा पर सवाल उठाते हुए कहा कि मोदी अंतरिक्ष में सभी प्रकार की सुविधाओं के झूठे सपने देश को दिखाते हैं, जबकि सिल्क्यारा टनल में फंसे 41 मजदूर को निकालने में भी इतना लंबा समय समझ से परे है, उन्होंने कहा कि अच्छा होता केंद्र की मोदी सरकार सुरंग से सुरक्षित बाहर निकाले 41 मजदूरों के साथ वार्ता करते हुए 15-15 लाख बांटने की शुरुआत भी इन्हीं मजदूरों से कर देती तो देश में एक उम्मीद की किरण जागती कि मोदी सरकार देश की जनता से अपना वादा पूरा करने जा रही है।
उन्होंने कहा कि यह सोची समझी रणनीति के तहत भाजपा ने कदम उठाया है यदि सरकार की मनसा साफ थी तो जिन मजदूरों ने पिछले 17 दिनों तक दिन-रात एक कर टनल में फंसे मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाला तो उनको भी इनाम दिया जाना चाहिए था मगर भाजपा सरकार को सिर्फ असंतोष दबाना था तभी तो 41 मेडिकल फिट मजदूर और उस पर निकम्मी धामी सरकार का 41 लाख मुआवजे का मरहम यह पूरे देश में भाजपा की खरीद फरोख्त नीति का पर्दाफाश करती है